उत्तराखंडदेश-विदेशदेहरादून

अल्संख्यक शिक्षा संस्थानों के रजिस्ट्रेशन के लिए उत्तराखण्ड में बनेगी रेगुलेटरी बॉडी

इसके तहत अब विवाह पंजीकरण शुल्क में छूट की समय सीमा को 6 महीने के लिए बढ़ाया गया है।

यूसीसी रजिस्ट्रेशन की समय सीमा बढ़ाने के लिए कैबिनेटन दे दी मंजूरी
देहरादून। गैरसैंण में विधानसभा सत्र आहूत होने से पहले धामी सरकार की कैबिनेट में कुछ अहम फैसले किए गए। रविवार को हुई कैबिनेट में कुल 5 बिंदु चर्चा में लाए गए जिनको हरी झंडी दी गई। इसमें कुछ विधेयकों के अलावा यूसीसी रजिस्ट्रेशन और अल्पसंख्यक शिक्षा से जुड़े मसले शामिल रहे।
धामी सरकार ने रविवार को सचिवालय में कैबिनेट की बैठक की, जिसमें गोपन से प्रस्तावित विभिन्न पांच मसलों पर चर्चा की गई। दरअसल इस बार गैरसैंण में विधानसभा सत्र होने जा रहा है, ऐसे में इस सत्र से पहले विभिन्न जरूरी मसलों पर चर्चा की गई है। धामी सरकार सत्र से पहले इन मुद्दों पर कैबिनेट की मंजूरी ले चुकी है, ताकि सदन में भी इन प्रस्तावों को कानूनी रूप दिया जा सके।
कैबिनेट की बैठक में वैसे तो पांच मामलों पर चर्चा की गई, लेकिन इसमें मुख्य तौर पर यूनिफॉर्म सिविल कोड के रजिस्ट्रेशन और अल्पसंख्यक शिक्षा से जुड़ा मामला शामिल रहा। इसके अलावा दो विधेयकों पर भी चर्चा की गई है, यह वह विधेयक हैं, जो सत्र के दौरान लाए जाने हैं। कैबिनेट की बैठक में रजिस्ट्रेशन की समय सीमा को बढ़ाए जाने से जुड़े प्रस्ताव को हरी झंडी दी गई है। हालांकि इसको लेकर पूर्व में ही निर्णय ले लिया गया था, लेकिन अब कैबिनेट ने भी इसे मंजूरी दे दी है। इसके तहत अब विवाह पंजीकरण शुल्क में छूट की समय सीमा को 6 महीने के लिए बढ़ाया गया है।
उधर दूसरी तरफ मदरसा बोर्ड की तर्ज पर अब एक और रेगुलेटरी बॉडी गठित करने का फैसला लिया गया है। जिस तरह मदरसा बोर्ड में मुस्लिम समाज के विद्यालयों के लिए व्यवस्था है इस तरह से अब अल्पसंख्यक शिक्षा कल्याण बोर्ड का गठन किया जाएगा। जिसमें मुस्लिम समाज की तरह ही सिख, जैन समेत दूसरे अल्पसंख्यक समाज के लोगों के विद्यालयों के लिए व्यवस्था की जाएगी। यह बोर्ड इन अल्पसंख्यक समाज के विद्यालयों की रेगुलेटरी का काम करेगा। उत्तराखंड में मौसम विभाग ने विभिन्न जिलों के लिए अलर्ट जारी किया हुआ है। इस बीच कयास लगाए जा रहे थे कि इस बार सरकार कैबिनेट में भारी बारिश को देखते हुए गैरसैंण में सत्र ना करते हुए देहरादून में ही सत्र करने का फैसला ले सकती है। लेकिन ऐसा नहीं हुआ और सरकार ने स्पष्ट किया है कि सत्र गैरसैंण में ही होगा।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button