उत्तराखंड

लापता जिला पंचायत सदस्यों से वीडियो जारी कर बताया वह सुरक्षित

किसी तरह की चिंता करने की जरूरत नहीं है। वो जहां भी हैं, सुरक्षित हैं। जल्द ही सभी लोग सामने आ जाएंगे।

वीडियो में बोले किसी ने अपहरण नहीं किया घूमने निकल गए थे
हाईकोर्ट के आदेश पर अभी चुनाव का परिणाम नहीं किया गया घोषित
हल्द्वानी। नैनीताल जिला पंचायत चुनाव मतदान के दौरान हुए बवाल मामले में एक नया मोड आया है। उस दिन कांग्रेस ने आरोप लगाया था कि उनके समर्थित पांच जिला पंचायत सदस्यों को बीजेपी नेताओं व दबंगों ने हथियारों के बल पर अपहरण किया है। बीजेपी की ओर से भी ऐसा ही आरोप कांग्रेस पर लगाया गया था। दो दिनों से चल रहे बवाल के बीच शुक्रवार देर शाम सभी लापता जिला पंचायत सदस्यों ने एक वीडियो जारी किया है।
वीडियो में सभी पांच सदस्य हैं। उन्होंने बताया कि मीडिया और सोशल मीडिया से उनके अपहरण की जानकारी मिली है, लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं है। उनका अपहरण नहीं हुआ है। वो सभी अपनी मर्जी से घूमने के लिए निकले हैं। किसी तरह की चिंता करने की जरूरत नहीं है। वो जहां भी हैं, सुरक्षित हैं। जल्द ही सभी लोग सामने आ जाएंगे।
बता दें कि, गुरुवार को नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष पद पर मतदान के दौरान बड़ा हंगामा हुआ था। कांग्रेस ने आरोप लगाया था कि उनके समर्थित पांच जिला पंचायत सदस्यों का भाजपा और उसके लोगों ने हथियारों के बल पर अपहरण कर लिया है। दिनभर हुए बवाल के बाद मामला नैनीताल हाईकोर्ट भी पहुंचा था। कोर्ट ने चुनाव को स्थगित करने का आदेश दिया था, लेकिन जिलाधिकारी का कहना था कि उन्होंने मतदान के बाद मतगणना भी कराई है, लेकिन परिणाम घोषित नहीं किया है, जो कोर्ट के आदेश पर किया जाएगा। अब सोमवार 18 अगस्त को इस पूरे मामले में हाईकोर्ट फिर सुनवाई करेगा।
उससे पहले ही शुक्रवार शाम लापता बताए जा रहे पांचों जिला पंचायत सदस्यों ने वीडियो जारी कर अपनी सलामती की खबर दे दी है। इससे पहले इसी मामले में आज हल्द्वानी में नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस ने एसएसपी कार्यालय पर धरना प्रदर्शन भी किया था।

नैनीताल भाजपा के जिलाध्यक्ष समेत 31 लोगों पर मुकदमा
जिला पंचायत सदस्यों की किडनैपिंग का लगाया आरोप
नैनीताल। उत्तराखंड के नैनीताल जिले में जिला पंचायत अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के चुनाव को लेकर बीती 14 अगस्त को जमकर बवाल हुआ था। बीजेपी और कांग्रेस दोनों ने ही एक-दूसरे पर जिला पंचायत सदस्यों को किडनैप करने का आरोप गया था। वहीं इस मामले में अब नया अपडेट ये आया है कि पुलिस ने भाजपा जिलाध्यक्ष समेत 11 नामजद व 15-20 अज्ञात लोगों पर मुकदमा दर्ज किया है।
बता दें कि 14 अगस्त को नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के लिए चुनाव हुआ था, जिसमें जमकर बवाल हुआ। बीजेपी और कांग्रेस की तरफ से एक-दूसरे पर इस तरह के आरोप लगाए गए थे कि उन्होंने उनकी पार्टियों के समर्थित जिला पंचायत सदस्य को गायब कर दिया था। इस वजह से पांच सदस्य वोट भी नहीं कर पाए थे।
इस मामले में कांग्रेस उसी दिन यानी 14 अगस्त को उत्तराखंड हाईकोर्ट भी गई थी। उत्तराखंड हाईकोर्ट ने मामले की सुनवाई भी हुई थी। उत्तराखंड हाईकोर्ट की सख्ती के बाद पुलिस भी हरकत में आई और अब इस मामले में पीड़ित पक्ष की तरफ चार अलग-अलग मुकदमें दर्ज किए हैं।
जानकारी के मुताबिक नैनीताल से कांग्रेस की जिला पंचायत अध्यक्ष प्रत्याशी पुष्पा नेगी, सदस्य जीशान्त कुमार और दो अन्य सदस्यों के परिजनों ने पुलिस को तहरीर दी है। पुलिस ने इन तहरीरों के आधार पर भाजपा जिलाध्यक्ष प्रताप बिष्ट, नैनीताल से भाजपा की जिला पंचायत अध्यक्ष प्रत्याशी दीपा दर्मवाल के पति आनंद दर्मवाल समेत 11 लोगों को नामजद किया है। इनके साथ ही 15 से 20 अज्ञात लोगों को भी आरोपित बनाया गया है।
नैनीताल एसएसपी प्रहलाद नारायण मीणा ने जानकारी देते हुए बताया कि तहरीर के आधार पर आनंद दर्मवाल, शंकर कोरंगा, प्रताप बिष्ट बोरा, प्रमोद बोरा, प्रखर साह, बीबी भाकुनी, विशाल नेगी, पंकज नेगी, शुभम दर्मवाल और कोमल दर्मवाल समेत 10 से 15 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है।

कांग्रेस ने बीजेपी पर लगाया गंभीर आरोप
नैनीताल। गौरतलब हो कि 14 अगस्त को कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने भी खुद के और हल्द्वानी से कांग्रेस विधायक सुमित हृदयेश के साथ मारपीट का भी आरोप लगाया था। इस मामले में कांग्रेसियों ने जमकर हंगामा भी कराया था। कांग्रेस ने बीजेपी पर लोकतंत्र की हत्या करने का आरोप लगाया था।
बता दें कि 14 अगस्त को जिला पंचायत अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के चुनाव के दिन शहर में भारी हंगामा हुआ था। मतदान स्थल से कुछ ही दूरी पर पुलिस की मौजूदगी में पांच जिला पंचायत सदस्यों डिकर सिंह मेवाड़ी, प्रमोद सिंह, तरुण कुमार शर्मा, दीप सिंह बिष्ट और विपिन सिंह को कुछ लोगों ने अगवा करने का आरोप लगाया था। इस घटना ने चुनाव प्रक्रिया पर सवाल खड़े कर दिए थे। कांग्रेस ने भाजपा कार्यकर्ताओं पर सरेआम गुंडागर्दी और विपक्षी सदस्यों का अपहरण करने का आरोप लगाया था।

हाईकोर्ट के फैसले पर टिकी निगाहे
नैनीताल। काफी हंगामे के बाद 14 अगस्त देर रात तक राज्य निर्वाचन आयोग ने मतदान के बाद मतगणना की प्रकिया पूरी कराई थी। हालांकि निर्वाचन आयोग ने नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव परिणाम घोषित नहीं किया था। नैनीताल जिलाधिकारी वंदना सिंह ने बताया था कि नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के चुनाव परिणाम सीलबंद लिफाफे के अंदर डबल लॉकर में रखे गए है। सभी प्रत्याशियों को इसकी जानकारी भी दे दी गई हैं। 18 अगस्त को नैनीताल हाईकोर्ट में इस मामले में सुनवाई होगी, तभी चुनाव परिणाम का सीलबंद लिफाफा हाईकोर्ट में पेश होगा। नैनीताल हाईकोर्ट के आदेश के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।

नेता प्रतिपक्ष यशपाल, विधायक सुमित समेत तमाम नेताओं पर एफआईआर दर्ज
नैनीताल। जिला पंचायत अध्यक्ष चुनाव मैं जिला पंचायत सदस्यों के अपहरण का विवाद अब तक जारी है। नैनीताल में हुए घटनाक्रम के दौरान नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य विधायक सुमित हृदय समेत तमाम कांग्रेसी नेताओं ने जिला पंचायत कार्यालय में प्रदर्शन कर भाजपा पर जिला पंचायत सदस्यों के किडनैप करने का आरोप लगाया था। दूसरी ओर इस मामले में जिला पंचायत की प्रत्याशी दीपा दरबार ने कांग्रेसी नेताओं के खिलाफ ताली लाल थाने में तहरीर दी थी। इसी तहरीर पर कार्रवाई करते हुए आज नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य विधायक सुमित हृदयेश, भुवन कापड़ी पूर्व विधायक संजीव आर्य समेत तमाम नेताओं पर एफआईआर दर्ज कर ली गई है। दीपा धर्मावला ने अपनी शिकायत में जिला पंचायत सदस्यों के अपहरण का आरोप लगाया था।

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